CM Ashok Gehlot Live: बीजेपी ने 19 विधायकों की बाड़ेबंदी की है बाउंसर्स लगाकर के, दो-दो सौ लोग खड़े हैं वहां पर !
Ashok Gehlot |
CM Ashok Gehlot Live From Jaisalmer, Rajasthan | Political Hub | 9 August, 2020
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आज विश्व आदिवासी दिवस है मेरी ओर से पूरे प्रदेश के आदिवासियों को बहुत-बहुत शुभकामनाएं, सरकार पूरी तरह आदिवासियों के कल्याण के लिए योजना बनाती जा रही है, आगे भी योजनाबद्ध तरीके से विकास हो आदिवासी क्षेत्र का भी, आदिवासियों का भी, ये हमारा संकल्प है और इसीलिए हमने 9 अगस्त को विश्व आदिवासी दिवस पर अवकाश घोषित किया है। दूसरा अब जो आप देख रहे हो कि जो बीजेपी के विधायक बाड़ेबंदी में जा रहे हैं, उनकी अब पोल खुल गई है। आप सोच सकते हो कि सरकार में तो हम लोग हैं, हॉर्स ट्रेडिंग हो रही थी इसलिए हम लोगों ने, आपने देखा कि किस प्रकार हमें विधायकों को एकसाथ रोकना पड़ा। पर बीजेपी के विधायकों को किस बात की चिंता है, वो लोग बाड़ेबंदी कर रहे हैं तीन-चार जगह पर, वो भी चुन-चुनकर के, उनमें इतनी बड़ी फूट पड़ गई दिखती है मुझे, कैलाश मेघवाल जी ने पहले स्टेटमेंट दिया ही था, इस प्रकार की परंपरा रही ही नहीं है, राजस्थान में कभी इस प्रकार की परंपरा रही ही नहीं है और सबको मालूम है कि मैं बार-बार कहता हूं, दो-तीन बार पहले अटेंप्ट हुए थे भैरोंसिंह शेखावत साहब के वक्त में, तब मैंने विरोध किया था प्रदेश कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष की हैसियत से, केंद्रीय मंत्री था मैं, चाहे नरसिम्हा राव जी थे प्राइम मिनिस्टर तब भी विरोध किया, बलिराम भगत जी थे राजस्थान के अंदर राज्यपाल, मैं उनसे जाकर मिला। ये परंपराएं राजस्थान में नहीं होनी चाहिए सरकार टॉपल करने की षड्यंत्र करके। बीजेपी के जो स्थानीय नेता बड़े-बड़े दावे कर रहे थे, पर आज और कल उनकी पोल खुल गई, जब वो चार्टर्ड प्लेन कर रहे हैं, विधायकों को भेज रहे हैं और बाड़ेबंदी करवा रहे हैं, तो मैं ये कहना चाहूंगा कि ये परम्पराएं जो डाल रहे हैं, ये डेमोक्रेसी के लिए खतरे हैं। बार-बार मैं कहता हूं कि हमारी लड़ाई जो है, सरकार को अस्थिर करने का षड्यंत्र जो इनका है, उसके खिलाफ तो संघर्ष है ही है, विजय हमारी ही होगी क्योंकि प्रदेशवासी हमारे साथ हैं। पूरे प्रदेश के घर-घर के अंदर चर्चाएं हैं कि ये बीजेपी ने तमाशा किया क्यों है? सरकार अच्छा काम कर रही थी, कोरोना को लेकर एक्स्ट्रा ऑर्डिनरी काम किया, देश में- दुनिया में तारीफ हो रही थी राजस्थान की। जहां जीवन बचाने का संघर्ष हो, वहां राजनीति पीछे हो जाती है। दुर्भाग्य से जीवन बचाने के संघर्ष के अंदर भी, आजीविका बचाने के संघर्ष के बावजूद भी, उस वक्त भी इनको सरकारें टॉपल करने के लिए षड्यंत्र करने का टाइम मिल जाता है तो आप सोच सकते हो कि गवर्नेंस में इनकी कितनी रुचि होगी, शासन करने में इनकी कितनी रुचि होगी आप सोच सकते हो। दुर्भाग्य है देश का कि ऐसे लोग सत्ता में बैठे हुए हैं। मैंने प्रधानमंत्री जी से भी बात की खुद ने, अमित शाह जी का आपको मालूम है कि उनका रवैया क्या रहता है, टार्गेट गिराने का सरकार का, धर्मेंद्र प्रधान जी हों, पीयूष गोयल जी हों और भी कई नेता हैं, बार-बार क्या नाम लें उनका, तमाम मिलकर षड्यंत्र कर रहे हैं जिस प्रकार से, देश का दुर्भाग्य है कि ऐसे लोग सत्ता में बैठे हुए हैं, जो लोग जिस रूप में डेमोक्रेसी को कमजोर कर रहे हैं, 70 साल हमने बचाकर रखा है, सरकारें आई भी हैं, गई भी हैं, इंदिरा गांधी जैसी महान नेता चुनाव हार गई थीं, पुनः जनता ने उनको सत्ता सौंप दी ढाई साल के अंदर, राजीव गांधी जी शहीद हो गए, वाजपेयी जी के वक्त में देखा आपने, वो खुद बार-बार कहते थे कि डेमोक्रेसी हमारे लिए सर्वोपरि होनी चाहिए, डेमोक्रेसी की रक्षा होनी चाहिए। आज जिस प्रकार का हमला हो रहा है जहां सरकारें कांग्रेस की हैं वहां पर, एक के बाद एक के बाद एक, 7-8 राज्यों में हो चुका है। अरुणाचल में हमारे लगभग 45 थे विधायक, 40 को तोड़ लिया गया, मणिपुर में क्या तमाशा हुआ, गोवा में क्या हुआ, उत्तराखंड में क्या घटनाएं हुई थीं, सबको मालूम है, कर्नाटक में सरकार चली गई हमारी, तोड़ ली गई हॉर्स ट्रेडिंग से, मध्य प्रदेश में नंगा नाच हुआ सबको मालूम है, ये हो क्या रहा है देश के अंदर? हमारी लड़ाई जो है डेमोक्रेसी को बचाने की लड़ाई है, वो 14 के बाद में भी जारी रहेगी, ये मैं कह सकता हूं और हम लोग जो हैं, विजय हमारी होगी, विजय सत्य की होगी, विजय प्रदेशवासियों की होगी, विजय उन तमाम विधायकों की होगी जो चाहते हैं चाहे पक्ष में हैं चाहे विपक्ष में हैं, कि सरकारें अस्थिर नहीं होनी चाहिए। उनकी अंतर्आत्मा क्या कहती है, मैंने उनको आह्वान किया है, मैंने कहा है विधायकों को, तमाम विधायकों को मैंने पत्र लिखा है, आपका परिवार क्या कहता है, आपकी खुद की आत्मा क्या कहती है, आपके क्षेत्रवासी जो हैं जो आपके मतदाता हैं वो क्या कहते हैं, उनकी आवाज़ सुनो फिर फैसला करो।
सवाल- सर वसुंधरा राजे भी दिल्ली में बीजेपी के बड़े नेताओं से मुलाकात कर रही हैं, तो क्या लग रहा है कि कुछ, क्योंकि आप बोल चुके हैं बाड़ाबंदी हो रही है?
जवाब- देखिए उनका बीजेपी का तो वो क्या करते हैं उससे मुझे कोई मतलब नहीं है। मुझे तो ये मतलब है कि बीजेपी के लोग देश में लोकतंत्र को कमजोर कर रहे हैं, इस देश की जनता और प्रदेश की जनता इसको बर्दाश्त नहीं करेगी।
सवाल- सर जो 19 विधायक हैं उनमें से कुछ लोग आना चाह रहे हैं?
जवाब- आप देखेंगे, 19 विधायक हैं, जिस रूप में खबरें आ रही हैं, वो चिंताजनक खबरें हैं। जिस प्रकार बाड़ेबंदी की गई उनकी, बाड़ेबंदी की गई है बाउंसर्स लगाकर के, दो-दो सौ लोग खड़े हैं वहां पर, मिलने दिया नहीं जा रहा है किसी को भी, उनके परिवार के लोग भी आते हैं, हमारे पहले एसओजी वाले गए थे, एसीबी वाले गए थे, कानून अपना काम करता है, कम से कम उनसे बात तो करें। वो लोग खाली बातचीत करने गए थे, एसओजी से जो नोटिस दिए गए थे वो खाली बातचीत के लिए दिए गए थे, लेकिन ऐसा फैलाया गया कि जैसे कि राजद्रोह का मुकदमा दर्ज हो गया हो नेताओं पर। मेरे भाई, मुझे भी नोटिस मिला, सबको मिले थे कि भई ये मामला जो चल रहा है उसपर आपका कहना क्या है? खाली बयान देने के लिए सिंपल नोटिस था, उसको ऐसा प्रोजेक्ट किया गया नेताओं द्वारा जैसे हम सबको राजद्रोही बनाकर देखिए हमारे खिलाफ में एसओजी में मुकदमा दर्ज करवा दिया गया जबकि ऐसी कोई बात थी ही नहीं। इसलिए जानबूझकर जो ये बातें की जा रही हैं, ये दुर्भाग्यपूर्ण है। जनता ने बड़े विश्वास के साथ में सत्ता सौंपी है कांग्रेस को, राहुल गांधी जी ने दौरे किए थे, वादे किए थे जनता से, मेनिफेस्टो में हमने उन सब वादों को लिया है, हम चाहते हैं कि उन वादों को निभाने के लिए रात-दिन एक कर दें, लगे हुए हैं हम लोग पर हालांकि कोविड के कारण से जो लॉकडाउन हुआ, उससे रेवेन्यु कम हो गई केंद्र की भी राज्यों की भी, उसका अलग संघर्ष हम लोग कर रहे हैं और दुर्भाग्य है कि उसके बाद में अगर ये घटनाएं होंगी सरकार को अस्थिर करने की तो आप सोच सकते हो क्या इम्पैक्ट पड़ेगा पब्लिक पर। घर-घर में आज गुस्सा है इस बीजेपी के नेताओं के लिए, उन नेताओं के लिए भी जो हमारी पार्टी के थे और चले गए। मैं समझता हूं कि वो खुद समझ रहे होंगे, अधिकांश लोग वापस आ जाएंगे हमारे साथ में।
सवाल- सर राजद्रोह की जो धारा लगाई गई थी वो वापस ले ली गई?
जवाब- वो अपना काम कर रहे हैं, अगर मान लो धाराएं वापस ली गई हैं या लगाई गई थीं या नहीं लगाई गई थीं, अभी आप खुद अखबार में देख रहे हैं, मीडिया में देख रहे हैं, मुकदमा दर्ज हुआ, किस रूप में दर्ज हुआ, प्ली हुई है कि मुकदमा दर्ज हुआ, ये एसओजी वाले बताएंगे आपको, एसीबी वाले बताएंगे, कानून अपना काम करता है, हम कोई इंटरफेयर नहीं करते हैं। परसों खबर चला दी गई कि विधायकों के टेलीफोन टेप हो रहे हैं, अब इससे घटिया खबर क्या हो सकती है और बड़े-बड़े मीडिया के लोगों ने भी, नेशनल चैनल ने भी खूब चलाया उसको। एक भी विधायक का, चाहे MLA हो चाहे MP हो, किसी का भी कोई टेलीफोन टेप करने का सवाल ही पैदा नहीं होता है, सरकार कर भी नहीं सकती, न करना चाहिए। हमारा खुद का कमिटमेंट है कि कभी नहीं करना चाहिए, तो हमारी गवर्नमेंट कैसे कर सकती है? ऐसा सोशल मीडिया में चलाया गया जैसे कि पता नहीं कि हमारा खुद के विधायकों के ऊपर ही विश्वास नहीं हो। ये षड्यंत्र के पार्ट हैं, षड्यंत्र के पार्ट में जो-जो लोग शामिल हैं चाहे मीडिया लोगों के साथी हों, चाहे कुछ ऐसे लोगों के दोस्त हों जो ये षड्यंत्र कर रहे हैं, ये सब मिलकर के जनता को गुमराह करने का काम कर रहे हैं। कोई कंपनी काम कर रही है मानसरोवर के अंदर, कंपनी रिपोर्ट दे रही है सरकार को और विधायकों के टेलीफोन टेप हो रहे हैं, बताइए आप? न कोई कंपनी है, न हमें कोई जानकारी है, फिर भी यदि कोई खबर चल पड़ती है मीडिया के अंदर, सोशल मीडिया के अंदर, ये दुर्भाग्यपूर्ण बात है।
सवाल- सर 11 तारीख और 14 तारीख सरकार के लिए महत्वपूर्ण है, 11 तारीख क्योंकि कोर्ट का डिसीजन आने वाला है और?
जवाब- विजय हमारी होगी, अंतिम विजय हमारी होगी, विजय सरकार की होगी, सरकार पूरे 5 साल निकालेगी, जमकर सेवा करेगी। जनता अपेक्षा करती है, आशा करती है उसको मैं पूरा करूंगा।
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